
पर्यटन उद्योग को लेकर सरकार की नई रूप रेखा
भोपाल। पर्यटन, संस्कृति एवं आध्यात्म मंत्री उषा ठाकुर ने आज फिक्की द्वारा आयोजित टूरिज्म ई-कॉन्क्लेव के समापन समारोह में भाग लेते हुए कहा कि मध्यप्रदेश में पर्यटन उद्योग को पुनर्जीवित करने के लिये पर्यटन विभाग अनेक नवाचारों पर विचार कर रहा है। प्राकृतिक सुंदरता के साथ विविध संस्कृति और बोली से युक्त मध्यप्रदेश के 53 गाँवों को चिन्हित किया जाकर इन्हें पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जायेगा। इससे कोविड की मार झेल रहे पर्यटन उद्योग को पुनर्वापसी में सहायता मिलेगी और स्थानीय लोगों को रोजगार के नये अवसर मिलेंगे।
ठाकुर और सभी राज्यों के मंत्री इस बात पर एकमत थे कि पड़ोसी राज्यों के परस्पर सहयोग से पर्यटन को प्रोत्साहित किया जाये। मध्यप्रदेश की सीमाएँ 5 राज्यों से मिलती हैं। ठाकुर ने कहा कि हम प्रदेश में ईको टूरिज्म के साथ ही आध्यात्मिक पर्यटन को भी बढ़ावा देंगे। मध्यप्रदेश में प्राचीन तीर्थ उज्जैन, नर्मदा उद्गम अमरकंटक, साँची, महाकालेश्वर और ओंकारेश्वर आदि महत्वपूर्ण धार्मिक पर्यटन स्थल हैं। सुश्री ठाकुर ने कहा कि मध्यप्रदेश में सर्वाधिक राष्ट्रीय उद्यान और टाइगर रिजर्व हैं। इनके बफर क्षेत्र में कोविड को ध्यान में रखते हुए पर्यटकों के लिये सुविधाएँ जुटाई जा रही हैं।