
बकरीद पर छूट से बढ़े कोरोना के केस! केरल सरकार पर केंद्रीय पैनल ने उठाया सवाल
हिन्दी समाचार, नई दिल्ली। देश में मंद पड़ती कोरोना की रफ्तार के बीच केरल में संक्रमण के बढ़ते मामलों के पीछे धार्मिक कारणों से भीड़ जुटना एक सबसे बड़ा कारण है। सरकार की जीनोम सिक्वेंसिंग मॉनिटरिंग एजेंसी INSACOG के निदेशकों में सेएक अनुराग अग्रवाल ने माना है कि अगर केरल ने धार्मिक वजहों से भीड़ को जुटने न दिया होता तो राज्य में कोरोना के मामलों को बढ़ने से टाला जा सकता था। बता दें कि केरल में बीते महीने ईद से पहले पाबंदियों में छूट का ऐलान किया गया था, जिसको लेकर राज्य सरकार को काफी आलोचनाओं का सामना भी करना पड़ा था।
अनुराग अग्रवाल ने कहा, ‘अगर केरल ने धार्मिक पर्वों पर भीड़ न जुटने दी होती तो यहां संक्रमण के मामले 13 हजार से 20 हजार तक न पहुंचते।’ अनुराग अग्रवाल ने कहा कि कोरोना महामारी का ग्राफ बढ़ने के पीछे उत्तर भारत की तुलना में केरला की हिस्सेदारी ज्यादा थी और इतना ही नहीं, राज्य में कोरोना संक्रमण अभी बढ़ता रहेगा।
केरल में फिलहाल कोरोना का कोई नया वेरिएंट नहीं मिला है। अनुराग अग्रवाल ने बताया कि राज्य में कोरोना सैंपलों की जीनोम सिक्वेंसिंग से पता लगता है कि 90 फीसदी मामले डेल्टा वेरिएंट के हैं।
उन्होंने कहा कि कोरोना की तीसरी लहर सितंबर से अक्टूबर के बीच में आ सकती है। हालांकि, कोरोना की दूसरी लहर अभी भी बरकरार है।